जल्दी ही आएगा छोटा मुसेवाला , सिद्धू मूसेवाला की मां 58 की उम्र में प्रेग्नेंट मार्च मे गूंजेगी किलकारी
दिवंगत पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला के घर पर खुशियां आने वाली है । सिद्धू मूसे वाला की मां 58 साल की उम्र में प्रेग्नेंट हुई है । जल्दी ही मूसेवाला परिवार में बच्चे की किलकारी गूंजने वाली है। मूसेवाला की मां चरण कौर प्रेग्नेंट हैं और बताया जा रहा है कि मार्च के महीने में वह बच्चे को जन्म देंगी। चरण कौर की उम्र 58 साल है और वह IVF तकनीक के जरिए प्रेग्नेंट हुईं हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, चरण कौर के प्रेग्नेंट होने की जानकारी सिंगर सिद्धू मूसेवाला के ताया चमकौर सिंह ने दी है। चाचा का कहना है कि हम भगवान के शुक्रगुजार हैं कि हमारे घर में जल्द नई खुशियां दस्तक देने वाली हैं। बताया जा रहा है कि, मूसेवाला की मां चरण कौर पिछले 3-4 महीने से अपने घर से बाहर भी नहीं निकल रहीं हैं। जबकि पहले वह घर आने वाले सिद्धू मूसेवाला के फैंस से मुलाक़ात करती थीं।
बता दें कि, सिद्धू मूसेवाला की हत्या के बाद यह पहला मौका होगा, जब उनके घर में खुशी की गूंज सुनाई देगी। सिद्धू की हत्या के बाद से उनके घर में लगातार दुख और दर्द का दौर जारी है। सिद्धू मूसेवाला के पिता बलकौर सिंह और चरण कौर हमेशा अपने बेटे को याद करते हुए इंसाफ की मांग करते रहे हैं। लेकिन अब जब घर में बच्चा आएगा तो दोनों का दुख-दर्द बांटेगा और दोनों उसी में ‘छोटा सिद्धू मूसेवाला’ की झलक देखकर यह सोच लेंगे कि यही उनका सिद्धू मूसेवाला है।
आएगा घर का वारिस , मुसेवला के प्रसंशको मे खुशी
मालूम रहे कि, सिद्धू मूसेवाला बलकौर सिंह और चरण कौर के इकलौती संतान थे। सिद्धू की हत्या के बाद बलकौर सिंह और चरण कौर के घर का अकेला चिराग बुझ गया था। सिद्धू मूसेवाला के करीबी और तमाम चाहने वालों ने बलकौर सिंह और चरण कौर से बच्चे को जन्म देने की मांग भी की थी ताकि सिद्धू मूसेवाला की कमी भरी जा सके और उनके लिए भी बुढ़ापे में कोई सहारा रहे। यही वजह रही होगी कि आईवीएफ तकनीक की मदद से सिद्धू की मां चरण कौर ने कंसीव करने का फैसला लिया। सिद्धू परिवार में अब वारिस आने वाला है। जैसे ही यह जानकारी सामने आई है , मूसेवाला के प्रशंसकों में खुशी की लहर है।
क्या होती है IVF तकनीक , जिससे पैदा होते है बच्चे
सबसे पहले आपको बता दे कि आखिरकार आईवीएफ तकनीक है क्या । आईवीएफ का मतलब है इन विट्रो फर्टिलाइजेशन होता है । जब शरीर अंडों का निषेचित करने में असफल रहता है तो उन्हें प्रयोगशाला में निश्चित किया जाता है इसलिए इसे आईवीएफ कहा जाता है । आईवीएफ तकनीक खासतौर से उन महिलाओं के लिए फायदेमंद है जिन जो महिलाएं किसी न किसी कारण से मां नहीं बन पाती है । मगर आईवीएफ तकनीक के लिए जरूरी है कि सही आईवीएफ सेंटर का चयन भी किया जाए ।
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