तलाक के बाद पत्नी को 1.25 करोड़ देगा पति : सुप्रीमकोर्ट का फैसला
15 साल से अलग रह रहे दंपति का विवाह समाप्त, पत्नी को 1.25 करोड़ रुपये गुजारा भत्ता
नई दिल्ली – सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को एक महत्वपूर्ण निर्णय सुनाते हुए 2010 से अलग रह रहे दंपति का विवाह समाप्त कर दिया और पति को पत्नी को स्थायी गुजारा भत्ते के रूप में 1.25 करोड़ रुपये देने का निर्देश दिया। जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस संदीप मेहता की बेंच ने कहा कि दोनों पक्षों के बीच सुलह की कोई संभावना नहीं है और वैवाहिक संबंध का कोई निशान शेष नहीं है।
मामले में यह तथ्य भी सामने आया कि पति ने मार्च 2017 में दूसरी शादी कर ली थी, जबकि पत्नी और बेटा लंबे समय से आर्थिक सहायता से वंचित रहे। अदालत ने संविधान के अनुच्छेद 142 के तहत विशेष अधिकारों का प्रयोग करते हुए तलाक को उचित ठहराया और एकमुश्त गुजारा भत्ता देने का आदेश दिया।
यह फैसला उस अपील पर आया, जिसमें मद्रास हाईकोर्ट के 2018 के आदेश को चुनौती दी गई थी। हाईकोर्ट ने पहले फैमिली कोर्ट के तलाक के निर्णय को रद्द कर दिया था, लेकिन अब सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट कर दिया कि 15 वर्षों से अलग रह रहे इस दंपति का कानूनी संबंध बनाए रखना न्यायसंगत नहीं है।
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