कैबिनेट के फर्जी लेटर से हरियाणा में 500 करोड़ की जमीन कब्जाने की कोशिश
खबरी प्रशाद अखबार के पास इस फर्जीवाडे की शिकायत की कॉपी मौजूद
कर रहे थे रजिस्ट्री करने की तैयारी उसी में पकड़े गए
खबरी प्रशाद, रितेश माहेश्वरी
हरियाणा में फर्जीवाडे का एक बहुत बड़ा मामला सामने आया है जिसमें की फर्जीवाडा करने वालों की इतनी हिम्मत हो गई की उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर की सरकार के एक फर्जी कैबिनेट का लेटर तैयार कर दिया। मगर एक कहावत है ना कि चोर कितनी भी होशियारी कर ले गलती कोई ना कोई छोड़ ही जाता है। सरकार के इस लेटर में कैबिनेट मीटिंग का की तारीख 15 और 21 दिसंबर 2023 लिखी गई जबकि इस तारीख में किसी प्रकार की कोई कैबिनेट बैठक हुई ही नहीं।
आखिर कहां की थी 500 करोड रुपए की जमीन
पुलिस से जुड़े हुए सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कैबिनेट के इस फर्जी लेटर में प्रदेश के तीन जिलों गुरुग्राम रोहतक और सोनीपत की 500 करोड रुपए की बेशकीमती जमीन जिनकी रजिस्ट्री करने की तैयारी की जा रही थी।
कौन-कौन लोग हैं शामिल
इस मामले में कौन-कौन लोग शामिल है इस बात को लेकर हरियाणा पुलिस के उच्च अधिकारियों ने पूरी तरीके से अपना मुंह बंद कर लिया है। इस मामले पर कोई भी पुलिस का अधिकारी कुछ भी बोलने को तैयार नहीं है। लेकिन पुख्ता सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कैबिनेट के इस लेटर के अंदर हरियाणा सचिवालय के तीन से चार कर्मचारियों की मिली भगत की आशंका जताई गई है। इस पत्र के अंदर जो फर्जी दस्तक किया गया वह कैबिनेट ब्रांच के सुपरिटेंडेंट का बताया जा रहा है। इसके अलावा पंचकूला गुड़गांव सोनीपत के कुछ बड़े प्रॉपर्टी डीलर के भी इस मामले में संयुक्त होने की आशंका जताई गई है।
पंचकूला के 5 सेक्टर थाने में शिकायत दर्ज
पंचकूला के सेक्टर 5 थाने में हरियाणा सरकार के मुख्य सचिव टीवीएसएन प्रसाद के आदेश पर मामला दर्ज कर लिया गया है। पंचकूला की क्राइम ब्रांच के अलावा हरियाणा पुलिस के उच्च अधिकारी खुद इस मामले की तहकीकात कर रहे हैं।
पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर खट्टर के पास पहुंची थी शिकायत, तब हुआ मामले का खुलासा
इस पूरे मामले का खुलासा पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर खट्टर के पास पहुंची एक शिकायत से हुआ है। सूत्र बताते है कि इस पत्र को देखकर खुद मनोहर लाल खट्टर हैरान रह गए थे। जब उन्होंने सचिवालय मे इस संबंध मे पता किया तो सारे मामले का खुलासा हुआ।
रजिस्ट्री की तैयारी में थे फर्जीवाडा करने वाले डीलर
पुख्ता सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार फर्जीवाड़े में शामिल लोग रजिस्ट्री की पूरी तैयारी कर चुके थे। मगर अचानक से इस पूरे मामले का भंडाफोड़ हो गया और उनके सपने धरे रह गए।
कोई अधिकारी कुछ भी बोलने को तैयार नहीं
500 करोड रुपए के इस फर्जीवाडे पर ना तो पंचकूला के कोई पुलिस अधिकारी बोलने को तैयार है ना ही हरियाणा के उच्चाधिकारी कुछ कहने को तैयार हैं। यहां तक की इस संबंध में दर्ज की गई एफआईआर (FIR) की कॉपी भी कहीं पर नहीं मिल पा रही है। मगर खबरी प्रशाद अखबार के पास इस फर्जीवाडे की कॉपी मौजूद है, जिसका स्क्रीनशॉट लगाया जा रहा है।
सवाल इस बात का है कि फर्जीवाडा करने वालों के हौसले कितने बुलंद हैं कि वह अब सरकार को भी कुछ नहीं समझते और सरकार की कैबिनेट के फर्जी लेटर बनाकर बेशकीमती जमीन को हड़पने की कोशिश की फिराक में थे। यह तो शुक्र है कि वक्त रहते इस बात का पता चल गया और हरियाणा में एक फर्जीवाडा होने से बच गया। मगर आखिर वह कौन लोग होंगे जो इतने बड़े फर्जीवाडे को अंजाम देने के लिए जा रहे थे। जाहिर सी बात है कुछ सामान्य व्यक्ति तो नहीं हो सकते हैं ना ही एक सामान्य व्यक्ति की इतनी हिम्मत होगी तो इसके पीछे अगर गहराई से जांच होगी तो कई सफेद पोस भी सामने आ सकते हैं।
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